publicuwatch24.-रायपुर। छत्तीसगढ़ के बीजापुर में पत्रकार की हत्या कर दी गई। रिपोर्टर मुकेश चंद्राकर की लाश रिश्तेदार के बैडमिंटन कोर्ट कैंपस में बने सेप्टिक टैंक में मिली है। लाश को छिपाने के बाद टैंक को 4 इंच कंक्रीट से ढलाई कर पैक कर दिया गया था।
शनिवार को मुकेश चंद्राकर का अंतिम संस्कार किया गया। जांच में पता चला कि, मुकेश चंद्राकर का पहले गला घोंटा गया। बाद में सिर पर कुल्हाड़ी मारी। इस हमले से मुकेश के सिर पर ढाई इंच गड्ढा हो गया। पुलिस ने 3 आरोपियों को गिरफ्तार किया है। रिश्तेदार सुरेश चंद्राकर के ठिकाने पर बुलडोजर भी चलाया गया है।
बीजापुर में हुई इस हत्या के बाद पत्रकारों में आक्रोश है। उन्होंने बीजापुर नेशनल हाइवे-63 पर 4 घंटे तक चक्काजाम किया। वहीं, रायपुर में भी धरना प्रदर्शन किया गया। पत्रकारों ने आरोपियों को फांसी देने की मांग की है। रायपुर पुलिस क्लब में भी नम आंखों से मुकेश चंद्राकर को श्रद्धांजलि दी गई। इस मौके पर पत्रकारों और पुलिस के जवानों ने मौन रखकर दिवंगत आत्मा की शांति के लिए ईश्वर से कामना की। श्रद्धांजलि देने के बाद पत्रकार राज्यपाल को ज्ञापन देने राजभवन पहुंचे। राजभवन पहुंचे पत्रकारों को वहां पर रोक दिया गया।
पत्रकार राज्यपाल को घटना से संबंधित ज्ञापन देने चाहते थे। बाद में पत्रकारों ने राज्यपाल के सचिव को बुलाने की मांग की। राज्यपाल के सचिव जब पत्रकारों का ज्ञापन लेने के लिए नहीं पहुंचे तब पत्रकार नाराज हो गए। पत्रकार राजभवन के गेट नंबर 3 पर धरने पर बैठ गए। पत्रकारों का कहना था कि अगर राज्यपाल राजभवन में नहीं हैं तो सचिव को ज्ञापन लेना चाहिए। अब जानिए क्या है पूरा मामला ? दरअसल, 1 जनवरी 2025 को शाम 7 बजे से मुकेश चंद्राकर घर से लापता हुए थे। अगले दिन 2 जनवरी को उनके भाई युकेश चंद्राकर ने गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज कराई। शिकायत के बाद पुलिस लगातार मुकेश के फोन को ट्रेस कर रही थी। फोन बंद होने की वजह से अंतिम लोकेशन घर के आस-पास का ही दिखा रहा था।
CCTV फुटेज भी खंगाले गए, जिसमें अंतिम बार मुकेश टी-शर्ट और शॉर्ट्स में दिखे। वहीं पत्रकारों ने भी अलग-अलग जगह पता किया। Gmail लोकेशन के माध्यम से लोकेशन ट्रेस किया गया, जिसमें मुकेश का अंतिम लोकेशन बीजापुर जिला मुख्यालय के चट्टानपारा में होना पाया गया।